विकासखंड मऊरानीपुर की ग्राम पंचायत घाट लहचूरा में विकास के कई कार्य हुए। इसके बावजूद, ग्रामीणों के इर्द-गिर्द समस्याएं बनी हुईं हैं। सड़कों की दशा यहां खराब है। गांव के सभी लोगों को नल से पानी भी नहीं मिल पा रहा है। बिजली का भी यहां आए दिन संकट बना रहता है। इसके अलावा यहां अन्य सुविधाओं की भी दरकार है।

ग्राम पंचायत घाट लहचूरा में जल जीवन मिशन की पाइपलाइन डालने के लिए सड़कों को खोदा गया था, लेकिन काम पूरा होने के बाद इनकी मरम्मत पर ध्यान नहीं दिया गया, जिससे सड़कें क्षतिग्रस्त अवस्था में बनी हुईं हैं। ग्रामीणों का आवागमन मुश्किल बना हुआ है। इसके अलावा गांव की पूरी आबादी को जल जीवन मिशन का लाभ भी नहीं मिल पा रहा है। पहाड़ के किनारे की बस्ती में पानी नहीं पहुंच रहा है। यहां लोग पानी के लिए हैंडपंपों पर ही निर्भर बने हुए हैं। बिजली की आवाजाही भी ग्रामीणों के लिए परेशानी का सबब बनी हुई है। इससे खेतों की सिंचाई के अलावा उनके रोजमर्रा के काम भी प्रभावित बने रहते हैं।

आठवीं के बाद स्कूल नहीं

सरकारी स्तर पर यहां शिक्षा का प्रबंध कक्षा आठवीं तक ही है। इससे आगे की पढ़ाई के लिए बच्चों को तीन किलोमीटर दूर ग्राम चकारा की ओर रुख करना पड़ता है। गांव में श्मशान घाट भी नहीं है। ऐसे में ग्रामीणों को खुले में दाह संस्कार करना पड़ता है। इसमें सबसे ज्यादा समस्या बारिश के दौरान आती है। इसके अलावा ग्रामीणों को ग्राम पंचायत में खेल मैदान और सामुदायिक बरात घर की भी कमी खलती है।

एक नजर में

ग्राम पंचायत का नाम- घाट लहचूरा

ग्राम पंचायत में शामिल मजरा- हुल्लाई

ग्राम पंचायत की आबादी- 5500

ग्राम पंचायत में मतदाताओं की संख्या- 2200

यह हैं समस्याएं

क्षतिग्रस्त अवस्था में हैं ग्राम पंचायत की सड़कें।

गांव की एक बड़ी आबादी तक नहीं पहुंच रहा नलों से पानी।

श्मशान घाट न होने से दाह संस्कार में होती है परेशानी।

बिजली की आवाजाही से भी ग्रामीण हैं परेशान।

बीते चार साल की उपलब्धियां

पंचायत भवन और आरआरसी सेंटर का हुआ निर्माण।

12 सीसी, सात एपेक्स सड़कें बनीं, तीन नालों का हुआ निर्माण।

20 स्ट्रीट लाइट, 10 हैंडपंप लगवाए गए, बांध से निकलने को तीन रास्ते बनाए।

विद्यालय का हुआ कायाकल्प, 150 आवास बनाए गए।

 



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