मौसम विभाग ने जनपद में लू को लेकर किया रेड अलर्ट जारी, डीएम ने की जनपद वासियों से सुरक्षित रहने की अपील-


झाँसी- जनपद में भीषण गर्मी का कहर जारी, तापमान में लगातार रिकॉर्ड बढ़ोत्तरी हो रही है। गर्मी के सीजन में विगत वर्ष तापमान की अपेक्षा 02 से 03 डिग्री अधिक तापमान में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। असंतुलित जलवायु परिवर्तन का असर मौसम पर सीधे देखने को मिल रहा है और अनुमान है कि इस वर्ष पिछले साल की अपेक्षा अधिक गर्मी और लू चलेगी।
जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने कहा कि आने वाले दिनों में और अधिक हीट वेव/लू से बचाव को लेकर जनपद वासियों को और अधिक सर्तक रहना होगा तथा लू से बचाव के उपायों को जाने ताकि अपने परिवार का बचाव कर सके।
जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने जनपद में लगातार बढ़ते तापमान के दृष्टिगत निर्देश दिए कि विशेष अभियान चलाकर समस्त ट्यूबवेल तथा सिंचाई के साधनों को चालू हालत में रखा जाए, ताकि पेयजल की स्थिति को बिगड़ने से रोका जा सके। उन्होंने कहा कि क्षतिग्रस्त पाइप लाइन व लीकेज की जानकारी प्राप्त होते ही ठीक कराएं।पशुओं के पेयजल हेतु तालाब एवं पोखरों को लगातार भरवाए जाने के भी निर्देश दिए। डीएम कहा कि जिन क्षेत्रों में पानी की आपूर्ति गंभीर रूप से बाधित हो, वहां जलापूर्ति हेतु पानी के टैंकरों को तैनात करने की व्यवस्था जल्द सुनिश्चित कर ली जाए।
जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने ग्रामीण पेयजल योजनओं का सुचारू रूप से संचालन तथा अधिष्ठापित इण्डिया मार्का-2 हैण्डपम्पों के रिबोर एवं मरम्मत तथा अनुरक्षंण कार्य कराए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने वन क्षेत्रों में एवं शहरी क्षेत्रों में पशु-पक्षियों हेतु पेयजल आपूर्ति हेतु तालाब / झीलों में पानी की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सिंचाई विभाग को निर्देशित किया।
जिलाधिकारी ने गर्मी के दृष्टिगत विशेष अभियान चलाकर समस्त ट्यूबवेल तथा जलापूर्ति के साधनों को चालू हालत रखे जाने के निर्देश दिए।
जिलाधिकारी ने उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण द्वारा जारी विभिन्न एडवाइजरी/सलाह/क्या करें, क्या न करें, विषयक पम्पलेट, पोस्टर को जारी करते हुए जनपदवासियों को ‘‘लू प्रकोप एवं गर्म हवा’’ से बचाव हेतु जानकारी साझा किए जाने के निर्देश दिए।

भीषण-धूप में जान हथेली पर रखकर ड्यूटी कर रहे यातायात पुलिसकर्मी

कड़ी धूप में ड्यूटी कर रहे पुलिस के जवान, नहीं है छांव के इंतजाम

झाँसी- 47 डिग्री तक पहुंच चुके पारे की तपिश में भी खुले आसमान के नीचे घंटों सड़क पर खड़े होकर ड्यूटी करने को मजबूर यातायात व पुलिसकर्मियों की अब जान पर बनने लगी है।
सूरज की तपिश अब सुबह से हर किसी को झुलसाने लगी है। दोपहर होने तक तो ये भीषण गर्मी आग के शोलों से कम नहीं है। आग उगलती गर्मी में अगर सड़क पर कोई अपनी ड्यूटी निभाता नजर आता है, तो वह हैं ट्रैफिक सिपाही। हैरानी की बात ये है इन पुलिस वालों की दिक्कतों को लेकर किसी को कोई चिंता नहीं है। न तो पुलिस विभाग ही चिंतित है और न किसी समाजसेवी संगठन को इनका कोई ख्याल है। अगर ट्रैफिक बूथों का इंतजाम हो जाए तो गर्मी से इन पुलिस वालों को बचाया जा सकता है।

इन सुरक्षाकर्मियों की कठिन हालात में ड्यूटी के दौरान जब व्यवस्थाओं को परखा गया तो पता चला कि न ही कहीं छांव हैं, न ही पीने का पानी, कहीं बैठने की भी जगह तक नहीं फिर भी बैरियरों, चौराहों पर कड़ी धूप में सुरक्षाकर्मी मुस्तैद रहते हैं।

बुधवार की दोपहर लगभग 2:25 का समय था। इस वक्त तक तापमान 45 डिग्री तक पहुंच चुका था। हर कोई धूप से बचने की जुगत में था, इस गर्मी में अगर कोई चौराहे पर दिखा तो वह ट्रैफिक पुलिसकर्मी। बस स्टेण्ड पर जाम की स्थिति पैदा न हो इसलिए कड़ी धूप में ट्रैफिक कर्मी खड़े होकर ट्रैफिक को निकलवा रहे थे।

जैसे ही ट्रैफिक कुछ कम नजर आता ये पुलिसकर्मी गर्मी से बचने के लिए फल की ढकेल के पास कुर्सियों पर आकर कुछ देर के लिए बैठ जाते। मगर बस स्टेण्ड पर ट्रैफिक ज्यादा रहता है, इसलिए वक्त बैठने को कम मिल पाता है।

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